माध्यमिक स्तर के विद्यार्थियों की बुद्धि-लब्धि एवम उनके समायोजन के मध्य संबंध का अध्ययन

Authors

  • कृष्ण कुमार जायसवाल

Abstract

माध्यमिक स्तर के विद्यार्थी किशोरावस्था में होते हैं और अनेक प्रकार की समायोजन समस्याओं का सामना करते हैं। इन किशोर विद्यार्थियों को स्वयं से और परिस्थितियों से समायोजित करने में उनकी बुद्धि की महत्वपूर्ण भूमिका मानी जाती है। परन्तु क्या प्रत्येक बौद्धिक स्तर के किशोरों के समायोजन में उनकी बुद्धि महत्वपूर्ण भूमिका अदा करती है?- इसका अध्ययन करने के लिए कुशीनगर के अनुदानित विद्यालयों के माध्यमिक स्तर के 100 विद्यार्थियों पर यह शोध किया गया। समायोजन विश्लेषण के लिए मध्यमान, प्रमाणिक विचलन और टी परीक्षण का प्रयोग किया गया। इसमें पाया गया कि जिन विद्यार्थियों में उच्च बुद्धि लब्धि थी, उनका समायोजन स्तर उत्तम था। जबकि निम्न बुद्धि लब्धि वाले विद्यार्थियों में बुद्धि का समायोजन से संबंध प्राप्त नहीं हुआ। अर्थात उच्च बुद्धि लब्धि विद्यार्थियों के समायोजन में मददगार होती है, जबकि निम्न बुद्धि लब्धि का समायोजन से सार्थक संबंध नहीं मिलता है। यह शोध अभिवावकों, शिक्षकों, शिक्षाविदों आदि के लिए महत्त्वपूर्ण है। अभिवावकों और शिक्षको द्वारा माध्यमिक स्तर के विद्यार्थियों के बौद्धिक स्तर को समझते हुए उच्च और निम्न बुद्धि लब्धि वाले विद्यार्थियों को उनकी क्षमता के अनुरूप समायोजन में सहायता की जानी चाहिए। संवेदनशील विद्यार्थियों पर विशेष ध्यान देना चाहिए।
शब्द संक्षेप- माध्यमिक स्तर के विद्यार्थी, बुद्धि-लब्धि, समायोजन एवं संबंध का अध्ययन।

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Published

15-09-2018

How to Cite

1.
कृष्ण कुमार जायसवाल. माध्यमिक स्तर के विद्यार्थियों की बुद्धि-लब्धि एवम उनके समायोजन के मध्य संबंध का अध्ययन. IJARMS [Internet]. 2018 Sep. 15 [cited 2025 Mar. 12];1(2):259-62. Available from: https://journal.ijarms.org/index.php/ijarms/article/view/485