माध्यमिक स्तर के विद्यार्थियों की शैक्षिक अभिप्रेरणा पर उनके सामाजिक-आर्थिक स्तर के प्रभाव का अध्ययन

Authors

  • कृष्ण कुमार जायसवाल

Abstract

शिक्षा में सफलता पाने और शिक्षा के माध्यम से जीवन में सफलता पाने के लिए विद्यार्थियों में उच्च कोटि की शैक्षिक अभिप्रेरणा नितांत आवश्यक है। परंतु सामाजिक-आर्थिक परिस्थितियां विद्यार्थियों की शैक्षिक अभिप्रेरणा को भी प्रभावित करती हैं। इसलिए शैक्षिक अभिप्रेरणा के अध्ययन में विद्यार्थियों की सामाजिक आर्थिक परिस्थितियों को ध्यान में रखना आवश्यक है। इसी दृष्टिकोण से निम्न, मध्यम और उच्च सामाजिक-आर्थिक स्तर के विद्यार्थियों की शैक्षिक अभिप्रेरणा के तुलनात्मक अध्ययन के लिए यह शोध किया गया।शोध में मात्रात्मक उपागम और सर्वेक्षण शोध विधि का प्रयोग किया गया। कोटा प्रतिचयन विधि का प्रयोग करते हुए कुशीनगर जिले के माध्यमिक विद्यालयों में अध्ययनरत 120 विद्यार्थियों (प्रत्येक स्तर से 40 विद्यार्थी) का चयन किया गया।आंकड़ों के विश्लेषण के बाद निष्कर्ष प्राप्त हुआ कि शैक्षिक अभिप्रेरणा निम्न सामाजिक आर्थिक स्तर वाले परिवारों के विद्यार्थियों में सबसे कम है। मध्यम परिवारों के विद्यार्थियों में थोड़ी अधिक और उच्च स्तरीय घरों के विद्यार्थियों में तुलनात्मक रूप से सर्वाधिक है। यहां पर भी वैयक्तिक भिन्नता का प्रभाव देखने को मिलता है।जैसे कुछ निम्न वर्गीय विद्यार्थियों में अच्छी शैक्षिक अभिप्रेरणा पाई गई। पर इनकी संख्या अपेक्षाकृत कम है।भारत की अधिकांश जनसंख्या निम्न और मध्यम वर्ग की है। अतः इन वर्गों के विद्यार्थियों को शिक्षकों, अभिवावकों, विद्यालय प्रबंध तंत्र,राज्य और राष्ट्रीय शिक्षा प्रशासन द्वारा प्रोत्साहन,सहयोग और सतत अभिप्रेरणा की आवश्यकता है।
शब्द संक्षेप- माध्यमिक स्तर के विद्यार्थी, शैक्षिक अभिप्रेरणा, निम्न सामाजिक-आर्थिक स्तर, मध्यम सामाजिक-आर्थिक स्तर एवं उच्च सामाजिक-आर्थिक स्तर।

Additional Files

Published

30-01-2020

How to Cite

1.
कृष्ण कुमार जायसवाल. माध्यमिक स्तर के विद्यार्थियों की शैक्षिक अभिप्रेरणा पर उनके सामाजिक-आर्थिक स्तर के प्रभाव का अध्ययन. IJARMS [Internet]. 2020 Jan. 30 [cited 2025 Jul. 4];3(1):227-32. Available from: https://journal.ijarms.org/index.php/ijarms/article/view/486

Issue

Section

Articles